नगर निगम चुनाव ख़त्म हो गए हैं। इस बार चुनाव में कुछ किस्से रहे जो किसी ने प्रकाशित नहीं किए। हम अपनी ऑडियंस के लिए लेकर आएं हैं कुछ ऐसे ही किस्से।

ड्राइवर जीता डार्लिंग हारी

चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव का नजीता आ चुका है। एक राष्ट्रीय पार्टी ने जब उम्मीदवारों को टिकट दी थी तब इस बात की बगावत हुई थी कि पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने अपनी डार्लिंग व ड्राइवर को टिकट दे दी। पार्टी में बहुत से लोगों ने इस बात का विरोध किया था। वैसे तो पार्टी कहती है कि वे परिवारवाद नहीं करती लेकिन यहां तो परिवारवाद से भी एक कदम आगे जाकर अपने चहेतों को टिकट दे दी गई थी।

अब नतीजा आ गया है और वरिष्ठ नेता ने अपने जिन चहेतों को टिकट दी थी उनमें से केवल उनके ड्राइवर ही जीते हैं। विरोध के बाद भी वरिष्ठ नेता ने अपनी डार्लिंग को टिकट दी लेकिन वह हार गईं। जिस एरिया से ड्राइवर को टिकट दी गई थी वहां बहुत ज़्यादा बगावत हुई लेकिन उसके बाद भी उस एरिया से उस पार्टी को जीत हासिल हुई है। चलो वहां से सीट जीतकर ड्राइवर साहब ने वरिष्ठ नेता के टिकट देने के फैंसले का पूरा मान रख लिया और विरोधियों के मुंह बंद कर दिए।

किस्मत ने नहीं दिया साथ पत्रकारों का

इस बार चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव में एक पत्रकार व कुछ पत्रकारों के रिश्तेदारों ने भी अपनी किस्मत आजमाई लेकिन उनको सफलता प्राप्त नहीं हुई। कुछ नया करने की उम्मीद से उन्होंने अपनी पूरी मेहनत झोंक दी थी। पर नतीजे उनके हक में नहीं आए।

एक पत्रकार खुद इस बार चुनाव में खड़े हुए, लेकिन वह जीत न पाए। इसके इलावा 2 पत्रकारों के भाई व एक पत्रकार की माँ ने भी चुनाव मैदान में उतरकर अपनी किस्मत आजमाई लेकिन उन तीनों को भी जीत हासिल नहीं हुई। एक पत्रकार के भाई साहब ने भाजपा से, दूसरे पत्रकार के भाई साहब ने कांग्रेस से, एक पत्रकार ने स्वयं आप पार्टी से चुनाव लड़ा। वहीं एक पत्रकार की माता श्री ने भाजपा से बगावत करके निर्दलीय चुनाव लड़ा था।

सभी ने पूरी मेहनत के साथ कोशिश जरूर की लेकिन जनता शायद कुछ और ही चाहती थी। हम यही कह सकते हैं “गुड ट्राई, बेटर लक नेक्सट टाइम”।

पहली बार हुआ ओपिनियन पोल

चंडीगढ़ के नगर निगम चुनाव में इस बार एक कंपनी द्वारा ओपिनियन पोल जारी किया गया। ऐसा पहली बार हुआ। कंपनी द्वारा जारी किए गए ओपिनियन पोल में भाजपा का परिणाम सटीक निकला। पोल के अनुसार भाजपा को 12 सीटें आनी थी और वहीं परिणाम भी आया। लेकिन पोल के अनुसार कांग्रेस व आप पार्टी के नजीते उलटे हो गए।

पोल के अनुसार कांग्रेस को जितनी सीटें आनी थी वह आप पार्टी जीत गई। ओपिनियन पोल के अनुसार यह भी कहा गया था कि त्रिकुंश रहेगा नगर निगम परिणाम। यानी कि किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिलेगी और ऐसा ही हुआ।

इसके साथ ही पोल के अनुसार अन्य (others) को तीन सीटें आनी थीं। लेकिन वह भी नहीं हुआ। अन्य को केवल 1 सीट पर जीत हासिल हुई है। वैसे ओपिनियन पोल जारी करते हुए कंपनी ने कहा था कि नतीजे 10% आगे-पीछे आ सकते हैं।

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